हेलो फ्रेंड्स, आज मै आपके साथ एक बहुत ही उदासी वाली मगर सच्ची कहानी शेयर करुँगी, मेरी इस कहानी के बारे में सुनने के बाद आप खुद एक काशमकश में पढ़ जायेंगे। दोस्तों, मेरी कहानी उस दिन से शुरू होती है जिस दिन मैंने कॉलेज का पहला दिन ज्वाइन किया था। उस दिन मुझे कुछ ऐसे बात का एहसास हुआ जिसको मै आपसे ज़रूर शेयर करुँगी। वो दुपहर का वक्त था। नए फ्रेंड्स बन रहे थे। तभी मुझे अपने पहले प्यार का एहसास हुआ। वो एहसास कुछ ऐसा था –
सनम बेवफा है,
ये वक्त बेवफा है,
हम शिकवा करें भी तो किस्से,
कमबख्त ज़िन्दगी भी तो वेबफा है।
दोस्तों आप सोच रहे होंगे की वो एहसास इतना दर्द भरा क्यों था। इस बात का कारन भी बहुत बड़ा है। क्योंकि उस दिन जब मुझे अपने पहले प्यार का एहसास हुआ तो उस इंसान को मै पहले से ही जानती थी क्योंकि हम इकठे एक ही स्कूल में पढ़ते थे। ये प्यार तो तबका था मगर एहसास हुआ तो बहुत देर हो गयी। उस दिन उसने मुझे एक दफा भी पलटकर नहीं देखा या फिर यूँ कहो के देखकर भी अनदेखा कर दिया। उस समय मई बिलकुल अकेली थी और कोई मेरा साथ देने के लिए नहीं था। मगर आज भी जब भी कही मुझे वो दिखे तो मेरे दिल से दुआ ही निकलती है और मई आज भी उससे बेपन्हा महोबत्त करती हूँ।
पता नहीं उसे इसके बारे में कोई खबर है भी या नहीं !!!!
Nice
jinda raho very lovely